सतना जिले के सबसे बड़े सरकारी अस्पताल में पदस्थ डॉक्टर के रवैये से शिव सैनिक कुछ इस कदर नाराज हुए कि वे अस्पताल के मुख्य द्वार पर धरने पर बैठ गए और नारेबाजी करने लगे। उनका आरोप था कि मरीज देखने के लिए कहने पर डॉक्टर ने उन्हें FIR कराने की धमकी दी है। जानकारी के मुताबिक शिव सेना के कार्यकर्ता गुरुवार को नारेबाजी करते हुए सरदार वल्लभ भाई पटेल जिला अस्पताल सतना के मुख्य द्वार पर धरने पर बैठ गए। वे जिला अस्पताल के डॉ मनोज प्रजापति के रवैये और बर्ताव से नाराज थे और उन पर मरीजों का इलाज करने के बजाय परिजनों को धमकाने का आरोप लगा रहे थे। नाराज शिव सैनिकों ने बताया कि ग्राम फरद निवासी 80 वर्षीय बुजुर्ग सीताराम दुबे पिता रामाश्रय दुबे को बुधवार की दोपहर पौने 4 बजे जिला अस्पताल में गंभीर हालत में लाया गया था। उस वक्त इमरजेंसी ड्यूटी में रहे डॉक्टर ने उन्हें भर्ती कर लिया था। उसके बाद से किसी डॉक्टर ने सीताराम की सुध नहीं ली। डॉ. प्रजापति वार्ड की विजिट करने भी गए लेकिन उन्होंने बुजुर्ग मरीज को नहीं देखा। जब उनसे परिजनों ने बात की और यह आग्रह किया कि वे चलकर मरीज को देख लें तो डॉ प्रजापति भड़क गए और कहने लगे कि उन पर दबाव बनाया जाएगा तो वे एफआईआर दर्ज करा देंगे। डॉ. प्रजापति की इस धमकी के बाद शिव सैनिकों का गुस्सा भड़क गया और वे धरने पर बैठ गए। अस्पताल में प्रदर्शन की खबर मिली तो पहले अन्य डॉक्टर्स पहुंचे और फिर सिटी कोतवाली से पुलिस फोर्स भी बुला ली गई। लेकिन लगभग 4 घंटे तक चला धरना रात में तब खत्म हुआ जब सीएमएचओ डॉ. एलके तिवारी ने प्रदर्शनकारियों से बात कर उन्हें प्राथमिकता से मरीज की देखरेख और इलाज करवाने तथा अनुचित बर्ताव के लिए डॉक्टर से भी जवाब तलब किए जाने का भरोसा दिलाया।